Chinta netam " mind " 30 Mar 2023 कविताएँ समाजिक सामाजिक 20332 0 Hindi :: हिंदी
//... पैगाम-ए-दिवाली...// मत हो परेशान तू , जिंदगी एक काम है...! मुश्किलों से लड़ना सीख , जिंदगी एक मुकाम है...! किस घड़ी यह कैसी होगी , इससे सब अनजान है...! अपना हौसला बुलंद रख , फिर जिंदगी तेरे नाम है...! दे रहा मैं तुम्हें कि आज , दिवाली की शाम है...! जो कुछ भी है मेरे पास , बस यही , बस यही पैगाम है...! चिन्ता नेताम " मन " डोंगरगांव (छत्तीसगढ़)