Jyoti yadav 23 May 2023 कविताएँ देश-प्रेम #बेकार जवानी है # 5824 0 Hindi :: हिंदी
जो काम ना आए राष्ट्र के वह लहू लहू नहीं पानी है कर ना सके जो भारत की रक्षा तो बेकार जवानी है भारत मां ने तुझको पुकारा मांगती तुझसे अब कुर्बानी है बारी तुम्हारी है देने तुम्हें अब बलिदानी है झुकने ना देना भारत की सरताज को बचाना अब जननी जन्मभूमि की लाज को सवार दे तू लोगों के कल और अपने आज को हो जाए दीवानी दुनिया देख तेरी इस अंदाज को क्यों दर्द सहे भारत मा जब तुझ जैसा लाल है दोस्तों का दोस्त और दुश्मनों का काल है पत्थर का जवाब पत्थर से राष्ट्र का सवाल है तु धीर वीर लाजवाब कमाल है वीरों की विरता की तु निशानी है वीरता अब दिखानी है जो काम ना आए राष्ट्र के वह लहु लहु नहीं पानी है कर ना सके जो भारत की रक्षा तो बेकार जवानी है